वो जो ऊपर बैठे हैं किससे डरते हैं ? सच से ? या सच उजागर होने से ? बर्बाद कर दिया ये सुनने से डरते हैं ? या ताबाह होने की आहत से डरते हैं ? वो जो ऊपर बैठे हैं किससे डरते हैं ? लोगो की अच्छाई से डरते हैं ? या अपनी बुराई से डरते हैं ? हमारे प्यार से डरते हैं ? या अपने गुनाह से डरते हैं ? वो जो ऊपर बैठे हैं किससे डरते हैं ? जाति का जहर नहीं फैलने का डर हैं ? या धर्म का उन्माद नहीं फैलने का डर हैं ? या डर ये हैं कि अब लोग नहीं डर रहे ? आखिर क्या हैं डर ? वो जो ऊपर बैठे हैं किससे डरते हैं ? Copyright@Sankalp Mishra
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Showing posts from June, 2019
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अब तो डर लगता है बोलने से भी इस राज में , श्रीराम बोलकर ना जाने कौन गोली मार दे बाद में । सच , न्याय , समानता सब बकवास है इस राज में , वन्दे मातरम् , जय श्रीराम बाकी सब कुछ बाद में । गाय , बकरी , भेड़ , सुवर सब पर जोर इस राज में रोटी , रोजगार , शिक्षा , सुरक्षा सब कुछ होगा बाद में । कोर्ट कचहरी अफसर सरकार कोई काम न आएगा , अब तो सड़क पर भीड़ फैसला करेगी इस राज में । Copyright@Sankalp Mishra